“आप JNU बहस में मुझसे सहमत हों या नहीं, कन्हैया कुमार का यह ऐतिहासिक भाषण जरूर सुनियेगा!उसके विचारों से आप भले ही असहमत हों, आप नहीं चाहते कि हमारे विश्वविद्यालयों में ऐसे छात्र नेता हों? JNU आपको पसंद हो या न हो, आप नहीं चाहते ऐसी जगह हो जहाँ रात को खुले आकाश के नीचे लडके और लड़कियां जनसभा में खुल के बोल सकें, सत्ता पर हंस सकें, बड़े से बड़ी कुर्सी को चुनौती दे सकें? इस भाषण को सुनकर आपको अपने देश पर गर्व नहीं होता, लोकतंत्र पर मन नहीं इतराता? और आखिर में आज़ादी के नारे सुनकर आपके रौंगटे नहीं खड़े होते?”
योगेन्द्र यादव जी ने ये कहते हुए आलोचोको को मीठा जबाब दिया उस सवाल का जिससे समझना लोगो को जरुरी है।
बहकावे में आ कर किसी को बदनाम करना कितने घटिया हो सकता है। ये बिहार का लाल कन्हैया को देखया, सुन कर लगता है क्या बेटा पैदा किया है बिहार ने।
गर्व है हमे कन्हैया कुमार पर, कल के दिए गए भाषण को जरूर सुने
